
CM Yogi: सर्वे में आए चौंकाने वाले नतीजे, CM योगी को हटाने की तैयारी कर रही BJP?, आखिर क्या है उत्तर प्रदेश में नाराजगी की वजह CM Yogi: नई दिल्ली: लोकसभा चुनाव में बीजेपी बहुमत से काफी पीछे रह गई, जिसके कारण गठबंधन की सरकार बनानी पड़ी। बीजेपी को सबसे बड़ा झटका उत्तर प्रदेश में लगा, जहां समाजवादी पार्टी सबसे बड़ी पार्टी बनकर उभरी। बीजेपी, जो उत्तर प्रदेश में सभी 80 सीटें जीतने का दावा कर रही थी, केवल 33 सीटें ही जीत पाई।
CM Yogi: इन परिस्थितियों में, एक बार फिर से चर्चाएं शुरू हो गई हैं कि क्या यूपी में योगी आदित्यनाथ को मुख्यमंत्री पद से हटा दिया जाएगा? आम चुनाव के दौरान भी दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ऐसे दावे किए थे। हाल ही में, यूपी में सीएम योगी को हटाए जाने की अटकलों के बीच कई महत्वपूर्ण बैठकें भी हुईं। अब एक ताजा सर्वे में जनता से इस सवाल का जवाब जानने की कोशिश की गई है।

CM Yogi: एक सर्वे में लोगों से कई सवाल पूछे गए हैं। एक सवाल यह था कि क्या बीजेपी यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ को हटाने की तैयारी कर रही है। इस सवाल पर 42 फीसदी लोगों ने हां में जवाब दिया, जो काफी चौंकाने वाला था। इसके अलावा, 28.6 फीसदी लोगों ने कहा कि अभी चर्चा हो रही है, जबकि 20 फीसदी लोगों ने नहीं में जवाब दिया। यानी सबसे ज्यादा लोगों ने कहा कि हां, यूपी में सीएम योगी आदित्यनाथ को हटाने की तैयारी चल रही है।

CM Yogi: सर्वे में यह भी पूछा गया कि बीजेपी को यूपी में सबसे ज्यादा नुकसान किस वजह से हुआ। इस पर 49.3 फीसदी लोगों ने बेरोजगारी और महंगाई को जिम्मेदार ठहराया, जबकि 22 फीसदी लोगों ने संविधान बदलने के आरोप को वजह बताया। वहीं, 10 फीसदी लोगों ने नेताओं और संगठन में राज्य की कमी को जिम्मेदार कहा। इसके अलावा, 4.9 फीसदी लोगों ने सरकार के प्रति नाराजगी को कारण बताया। अयोध्या यानी फैजाबाद लोकसभा सीट पर बीजेपी की हार के संबंध में 28 फीसदी लोगों ने ओबीसी और दलितों में नाराजगी को वजह बताया।
साथ ही, 24 फीसदी लोगों ने अखिलेश के पीडीए को कारण बताया, जबकि 25 फीसदी लोगों ने स्थानीय स्तर पर नाराजगी को कारण बताया। 13 फीसदी लोगों ने सरकार के प्रति नाराजगी को भी कारण बताया। सर्वे में एक सवाल यह भी पूछा गया कि यूपी में बीजेपी के नुकसान के पीछे कौन जिम्मेदार है। इस पर 28 फीसदी लोगों ने राज्य के नेताओं को जिम्मेदार बताया, जबकि 21 फीसदी लोगों ने केंद्रीय नेतृत्व को जिम्मेदार ठहराया। 18 फीसदी लोगों ने पार्टी संगठन को भी जिम्मेदार बताया।